नर्मदापुरम/इटारसी। सामान्य वनमण्डल के तहत आने वाली इटारसी रेंज ओर सुखतवा रेंज में जहां अवैध कटाई के मामले अभी चल ही रहे थे कि बीते दिनों ताकू काष्ठागार डिपो से 43 घन मीटर लकड़ी के गायब हो जाने का मामला प्रकाश में आने के बाद अब 3 तेंदुए के शावकों की मौत ने वन महकमे की कार्यशैली की पोल खोल कर रख दी है। बताया जा रहा है कि सामान्य वनमण्डल के अंतर्गत सुखतवा रेंज की चाटुआ बीट में तेंदुए के तीन शावकों के मृत पाए जाने से वन महकमे में हड़कंप मच गया। इन शावकों की उम्र करीब 7–8 महीने बताई जा रही है।तीनों शावक चाटुआ के जंगल में सुबह करीब 7 बजे मृत अवस्था में मिले।जिसकी सूचना वन विभाग के जिम्मेदारों को मिलते ही वन विभाग के अधिकारी और कर्मचारी मौके पर पहुँचे। मौके पर सीसीएफ अशोक कुमार चौहान, एसडीओ मानसिंह मरावी, रेंजर और वनरक्षक सहित अन्य अधिकारी मौजूद रहे।
*जंगली जानवर के हमले से हुई मौत की आशंका*
डॉक्टर गुरुदत्त शर्मा की देखरेख में तीनों शावकों का पोस्टमार्टम कराया गया। एसडीओ मानसिंह मरावी ने प्रारंभिक तौर पर बताया कि शावकों की मौत किसी जंगली जानवर के हमले से हुई है, जिसमें बाघ या अन्य तेंदुआ शामिल हो सकता है।जिस जगह शावक मृत मिले, वहाँ जंगली जानवरों के निशान भी पाए गए हैं। वन विभाग के अधिकारियों ने आशंका जताई है कि किसी मादा बाघ ने क्षेत्रीय वर्चस्व या शिकार के लिए इस घटना को अंजाम दिया होगा। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में एक शावक की कॉलर की हड्डी टूटी मिली है, जो हमले की पुष्टि करता है।चाटुआ नदी किनारे तीनों शावकों का पोस्टमार्टम कराने के बाद शाम 6 बजे उनका अंतिम संस्कार किया गया। वन विभाग अब इस क्षेत्र में अन्य जंगली जानवरों की गतिविधियों पर नज़र रख रहा है।गौरतलब रहे कि